भीलवाड़ा 06 अप्रैल । अपना स्वयं का उद्योग प्रारम्भ करने के लिए राशि उपलब्धता ऊँचे ब्याज दरों पर होने से जहा विभिन्न उद्यमी तमाम तरह की समस्याओ का सामना कर रहे है वही राजस्थान के उद्यमियों को मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना से स्वयं का उद्योग आरम्भ करने के लिए राज्य सरकार सहायता पहुंचाने के लिए अग्रसर है। इसी योजना के अंतर्गत लाभान्वित हुए गौरव आचंलिया ने बताया की वे श्री शांति ट्रेडर्स भीलवाड़ा के प्रोपराईटर है तथा उद्योग को प्रारम्भ करने में पूंजी की आवश्यकता होने के कारण ऋण के लिए बैंक में सम्पर्क करने पर ब्याज की दर अधिक होने के कारण उद्योग को प्रारम्भ करना मुश्किल हो रहा था लेकिन बाद उन्हें मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना के बारे में ज्ञात हुआ जिसके अंतर्गत योजना में न्यूनतम ब्याज दर में राज्य सरकार की तरफ से ब्याज अनुदान दिया जा रहा है जो कि उद्योग को प्रारम्भ करने में एक संजीवनी बूटी साबित हो रही है।
इस योजना के माध्यम से उद्योग स्थापित करने में हुई सरलता से श्री गौरव आंचलिया ने न केवल नवीन औधोगिक इकाई स्थापित की अपितु 35 लोगों को रोजगार के अवसर भी प्रदान किए। राज्य में विनिर्माण, सेवा एवं व्यापार क्षेत्र में नए उद्यम स्थापित करने तथा वर्तमान उद्यमों के विस्तार, आधुनिकीकरण, विविधिकरण के लिए वित्तीय संस्थानों के माध्यम से 10 करोड़ तक का ऋण उपलब्ध करवाये जाने हेतु मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना दिसम्बर, 2019 से प्रारम्भ कर दी गई है।
इस योजनान्तर्गत उद्यमियों को 25 लाख तक के ऋण पर 8 प्रतिशत, 5 करोड़ तक के ऋण पर 6 प्रतिशत तथा 10 करोड़ तक के ऋण पर 5 प्रतिशत ब्याज पर अनुदान उपलब्ध करवाया जा रहा है।
मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत उद्योग के लिए ऋण प्राप्त करने हेतु उनके द्वारा जिला उद्योग एवं वाणिज्य केन्द्र भीलवाड़ा में सम्पर्क किया गया। वहां उपस्थित अधिकारीगण एवं कर्मचारियों द्वारा इस योजना के बारे में विस्तार से समझाया गया इसके पश्चात ही उनके द्वारा राज्य सरकार की इस फ्लैगशिप योजना से अपने उद्योग में लाभ लेने का निर्णय लिया गया एवं राज्य सरकार की इस योजना के कारण ही वे उद्योग प्रारम्भ करने में सफल हो पाए।
उन्होंने बताया कि उनके द्वारा लिये गये ऋण पर चुकाए जाने वाली ब्याज दर पर मिलने वाली सब्सिडी भी उन्हें समय पर प्राप्त हो रही है तथा उन्हें खुशी है कि राज्य सरकार की योजना के माध्यम से उन्होंने अपना स्वयं का उद्यम स्थापित करने में सफलता प्राप्त की है। अपने अस्थायी रोजगार को स्थायी रोजगार में बदल सके एवं उन्हें आशा है कि उन्ही की तरह अन्य बेरोजगार व्यक्ति भी जिला उद्योग एवं वाणिज्य केन्द्र, भीलवाड़ा के माध्यम से राजकीय योजनाओं का लाभ उठायेगें और अपना जीवन सफल बनायेगे।
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